नई दिल्ली: कर्नाटक को ऑक्सीजन देने के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र पर सख्ती दिखाई है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि केंद्र सरकार ऐसी स्थिति न बनाए ताकि कोर्ट को सरकार के खिलाफ एक्शन लेना पड़े। बता दें कि कर्नाटक हाईकोर्ट ने केंद्र सरकार को आदेश दिया था कि वह राज्य को रोजाना 1200 लोगों के टन ऑक्सीजन रोजाना मुहैया कराए। वहीं इस मामले में केंद्र सरकार ने कहा था कि इतनी बड़ी मात्रा में ऑक्सीजन सप्लाई करने के लिए उन्हें समय देना चाहिए।
क्या कहा सुप्रीम कोर्ट ने
सुप्रीम कोर्ट ने कहा, हम हाई हम कर्नाटक हाईकोर्ट के आदेश में हस्तक्षेप नहीं करेंगे। ’’ जस्टिस चंद्रचूड़ ने कहा,, मामलों 3.95 लाख मामलों पर कर्नाटक के 17.8 करोड़ टन ऑक्सीजन की जरूरत है। 1100 टन और टन ऑक्सीजन की न्यूनतम जरूरत है। हाईकोर्ट ने इस मामले में अतिरिक्त कैलिब्रेटिड अभ्यास किया है। हाईकोर्ट इस समय आंख मिंच कर नहीं बैठे रह सकते। ”
आदेश पर रोक लगाने से सुप्रीम कोर्ट का इंकार
परीक्षण के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने कर्नाटक को तुरंत 1200 टन टन ऑक्सीजन देने के हाई कोर्ट के आदेश की याचिका पर रोक लगाने से इंकार कर दिया। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हाईकोर्ट ने विस्तृत कारण बताते हुए आदेश दिया है। आदेश तब आया जब केंद्र 1200 मिलियन टन ऑक्सीजन के राज्य के भेजें को नहीं मान रहा था। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि केंद्र राज्य सरकार से बात कर मामले का हल निकाले।
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