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कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए राज्यपालों संग बैठक करेंगे पीएम मोदी और उपराष्ट्रपति

कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए राज्यपालों संग बैठक करेंगे पीएम मोदी और उपराष्ट्रपति

by Sneha Shukla

देश में कोरोना महामारी से लगातार बिगड़ते हालात को देखते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू 14 अप्रैल को सभी राज्यपालों और केंद्रशासित प्रदेशों के उप-राज्यपालों की बैठक करेंगे। बैठक में कोरोना महामारी को फैलने से रोकने और इसके खिलाफ प्रभावी उपायों को लेकर कुछ महत्वपूर्ण निर्णय लिए जा सकते हैं।

देश में अप्रैल के महीने में एक बार फिर कोरोना के मामले तेजी से बढ़ने लगे हैं। स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार भारत में पिछले 24 घंटों में कोरोना के 1,68,912 नए मामले मिले हैं। जबकि 904 मरीजों की इस महामारी के कारण मौत हो गयी है। ऐसे में इस बैठक में कोरोना महामारी से लड़ने के लिए कुछ बड़े फैसले के लिए जाने की उम्मीद है।

इस से पहले प्रधानमंत्री मोदी ने 8 अप्रैल को मुख्य सचिवों की बैठक कर इस बात पर जोर दिया था कि, राज्यों में कोरोना महामारी के खिलाफ उपाय और इसके प्रबंधन में राज्यपालों को भी शामिल किया जाना चाहिए। प्रधानमंत्री ने कहा था कि, सभी राज्यों के मुख्य सचिवों पर इस समय बहुत अधिक जिम्मेदारी है। ऐसे में इस लड़ाई में राज्यपालों को भी शामिल किया जाना चाहिए।

देश में इस महामारी के खिलाफ लोगों द्वारा बरती जा रही लापरवाही को देखते हुए प्रधानमंत्री ने सुझाव दिया कि, मुख्यमंत्रियों के साथ साथ सभी राज्यपाल अपने राज्यों के बड़े धर्मगुरुओं, लोगों और अन्य योग्य व्यक्तियों के साथ मिलकर लोगों को को विभाजित -19 के खिलाफ बताएं करने का संदेश दे सकता है।

शाम 6 बजे से बैठक होगी

बुधवार शाम 6 बजे होने वाली इस बैठक में प्रधानमंत्री एक बार फिर इस महामारी के खिलाफ लड़ाई में राज्यपालों की भूमिका पर बात कर सकते हैं। हालांकि जानकारी के अनुसार, राजपालों को राज्य सरकार द्वारा महामारी के खिलाफ रोजमर्रााना किए जा रहे बचाव कार्यों में सीधे तौर पर शामिल नहीं किया जाएगा। बल्कि उनका कार्य राष्ट्रपति के अधिकार और राज्य के मुख्य सचिवों के बीच साझेदारी को बेहतर बनाने का होगा। कोविद -19 के मैनजमेंट को लेकर ये प्रधानमंत्री और उपराष्ट्रपति की पहली आधिकारिक बैठक होगी। एक अधिकारी के अनुसार संविधान के प्रावधानों के अनुसार प्रधानमंत्री सीधे तौर पर राज्यपालों के साथ बैठक नहीं बुला सकते हैं। राष्ट्रपति या उपराष्ट्रपति केवल ये ही राज्यपालों की बैठक के लिए आमंत्रित कर सकते हैं।

मुख्य सचिवों की बैठक में क्या बोले थे पीएम

8 अप्रैल को मुख्य सचिवों की बैठक में पीएम मोदी ने कहा था कि अच्छा होगा हम कोरोना कर्फ्यू रात 10 बजे से चालू करें और सुबह तक चले जाएंगे। इन लोगों को सूचनाुक करने के काम आ रहा है। ‘टेस्ट, ट्रैक, ट्रीट’ पर हमें बल देना होगा। पीएम मोदी ने कहा था कि श्रमशक्ति जोन में सभी का कोरोना टेस्ट किया जाना चाहिए। इसका फायदा मिलेगा। अगर कोई व्यक्ति कोरोना से स्वभाव होता है तो उसके संपर्क में आने वाले कम से कम 30 लोगों का टेस्ट किया जाना चाहिए। माइक्रोइंडमेंट जोन पर फोकस की जरूरत है।

पीएम मोदी ने कहा, ” आज की समीक्षा में कुछ बातें हमारे सामने स्पष्ट हैं, उन पर हमें विशेष ध्यान देने की जरूरत है। पहला- देश फर्स्ट वेव के समय की पीक को क्रॉस कर चुका है, और इस बार ये ग्रोथ दसवें पहले से भी बहुत तेज है। दूसरा- महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, पंजाब, मध्यप्रदेश और गुजरात सहित कई राज्य फर्स्ट वेव की पीक को भी क्रॉस कर चुके हैं।

कुछ और राज्य भी इस ओर बढ़ रहे हैं। हम सबके लिए ये चिंता का विषय है। तीसरा- इस बार लोग पहले की अपेक्षा बहुत अधिक लापरवाह हो गए हैं। ज्यादातर राज्यों में प्रशासन भी नजर आ रहा है। ऐसे में कोरोना मामलों की इस अचानक वृद्धि ने मुश्किलें पैदा की हैं। ”

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