बॉलीवुड के मशहूर डायरेक्टर बी.आर चोपड़ा (बी.आर.चोपड़ा) जिन्होंने कई शानदार फिल्में बनाईं और जिनके प्रसिद्ध टीवी सीरियल ‘महाभारत’ देख, हममें से कई नौजवान बड़े हुए हैं। सिनेमा में इतना बड़ा नाम कमाने वाले बीरचोपड़ा कभी भी फिल्म इंडस्ट्री का हिस्सा नहीं बनना चाहते थे, वो आईसीसी का एग्जाम पास करके अफसर बन देश की सेवा करना चाहते थे, लेकिन किस्मत को कुछ और ही मंजूर था ।
बी.आर.चोपड़ा बचपन से ही पढ़ाई में बहुत अच्छे थे। विश्वविद्यालय में उन्हें आईसीएस की परीक्षा के लिए चयन भी लिया गया था, लेकिन पेपर के कुछ 8-10 दिन पहले उन्हें टायफाइड हो गया। बीमारी की हालत में भी बी.आर पेपर लिखने पहुंच गए। वहाँ उन्हें 3 घंटे में 18 में से 8 सवालों के जवाब देने थे, लेकिन उन्होंने सभी 18 प्रशनों के जवाब दे दिए। दूसरे पेपर के बाद उनकी तबियत इतनी ख़राब हो गई कि, वे पेपर देने लगे ही नहीं। वह कहती हैं कि ना, भाग्य से ज्यादा और जब से पहले किसी को कुछ नहीं मिलता, ब्रचोपड़ा के साथ भी यही हुआ।
आईसीएस के पेपर ना देने का दुख बीआर चोपड़ा को इतना पहुंच गया कि उन्होंने सोच लिया कि अगर सबसे ऊंचे मार्गदर्शन की सरकारी नौकरी नहीं कर पाए तो कोई भी दूसरी सरकारी नौकरी नहीं करुंगा। इसके बाद वे लाहौर गो अंग्रेजी के पत्रकार बन गए। आज़ादी के बाद उन्होंने फिल्म इंडस्ट्री का रुख किया और कामयाबी हासिल की।
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