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सेना के बेस हॉस्पिटल में बढ़ी भीड़, बदइंतजामी की शिकायत पर सेना ने दी सफाई

सेना के बेस हॉस्पिटल में बढ़ी भीड़, बदइंतजामी की शिकायत पर सेना ने दी सफाई

by Sneha Shukla

नई दिल्ली: राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में सेना का बेस अस्पताल एक बार फिर से चर्चा में है। इस बार सोशल मीडिया पर एक और-कथित रिटायर्ड कर्नल की तरफ से अस्पताल में बदियंतजामी और मरीजों की भीड़ को लेकर एक ऑडिशन जारी किया गया है। लेकिन सेना ने साफ कर दिया कि अस्पताल में सभी इंतेजाम मुक्कमल हैं। अस्पताल में भीड़ इसलिए है क्योंकि महामारी के दौरान मरीजों की संख्या काफी बढ़ गई है। सेना ने अपनी सफाई में बेस अस्पताल के भीतर की तस्वीरें भी जारी की हैं।

दरअसल, सोशल मीडिया पर जो आडिस फ्रंट आया है उसमें कहते हुए सुना जा रहा है कि मेन-गेट पर अफ़रा-तफ़री का माहौल है। है और लंबी दूरी की दौड़ शुरू कर रहे हैं। इसके अलावा खुद को रिटायर कर्नल कहने वाले उस शख्स ने कहा था कि उदय अस्पताल में मरीजों के साथ बदतमीजी भी हो रही है। उसी के जवाब में सेना ने फोटो जारी करते हुए इन आरोपों को समाप्त से खारिज किया है।

हालांकि, सेना के आधिकारियों ने माना है कि बेस अस्पताल में मरीजों का तांता लगा है। सेना के मुताबिक, इसीलिए जिन रोगियों में को विभाजित के लक्षण थोड़े कम हैं, उन्हें मेडिकल-एडवायज और मेडिकल-किट के साथ होम-आईसोलेशन की सलाह दी जा रही है। सेना की मानें तो उदय अस्पताल में विभाजित मरीजों की भीड़ इसलिए भी बढ़ गई है क्योंकि ईएचएस-इम्पैनलल हॉस्पिटल्स ने ओवरलोड के कारण पूर्व सैनिकों की भर्ती बंद कर दी है। सेना के मुताबिक, वर्तमान में बेस अस्पताल में कुल 650 बेड हैं, जिन्हें इस महीने के अंत तक बढ़ाकर 950 किया जा रहा है।

मंगलवार को ही ये खबर आई थी कि दिल्ली सरकार ने बेस अस्पताल की ऑक्सीजन सप्लाई का कोटा कम कर दिया है। हालांकि, बाद में आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता और दिल्ली से विधायक राघव चढ्ढा ने उदय अस्पताल में पर्याप्त ऑक्सीजन सिलेंडर दिए जाने की बात कही थी।

सेना ने ये भी साफ किया कि को विभाजित से लड़ने के लिए सेना के। जो सिपाही, डॉक्टर्स इत्यादि जो देशभर में राज्य सरकारों की मदद कर रहे हैं, उसके साथ सेना की ऑपेरियरिंगल-ट्रेनिंगयेमेंट पर कोई असर नहीं पड़ा है। सेना के मुताबिक, मिलिट्री-मेडिकल प्रोफेशनल्स की तैनाती उच्च-स्तर का फैसला है और उससे ना तो उत्तरी सीमा (चीन बॉर्डर) और ना ही पश्चिमी सीमा (पाकिस्तान बॉर्डर) पर सेना की तैयारियों पर कोई असर पड़ेगा।

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